प्रथम विश्वयुद्ध का इतिहास, कारण, परिणाम | About First World War In Hindi

First World War / प्रथम विश्व युद्ध 1914 से 1919 तक चलने वाला एक विश्व-स्तरीय युद्ध था जिसमे मध्य संसार के तीन महाद्वीप यूरोप, एशिया और अफ्रीका के बीच जल, थल और आकाश में युद्ध लड़ा गया था। इसमें भाग लेने वाले देशों की संख्या, इसका क्षेत्र और इससे हुई क्षति के अभूतपूर्व आंकड़ों के कारण ही इसे विश्व युद्ध का नाम दिया गया। इसे ग्रेट वार अथवा ग्लोबल वार भी कहा जाता है।

First World Warप्रथम विश्वयुद्ध का इतिहास – First World War History in Hindi

प्रथम विश्वयुद्ध लगभग 52 महीने तक चला और उस समय की पीढ़ी के लिए यह जीवन की दृष्टि बदल देने वाला अनुभव था। करीब आधी दुनिया हिंसा की चपेट में चली गई और इस दौरान अनुमानतः एक करोड़ लोगों की जान गई और इससे दोगुने घायल हो गए। इस युद्ध में 37 देशों ने भाग लिया।

प्रथम विश्व युद्ध किसके-किसके बिच लड़ा गया था – First World War Two Powers

प्रथम विश्व युद्ध में एक तरफ मित्र राष्ट्र (Allied Powers) और दूसरी तरफ धुरी राष्ट्र (Axis Powers) थे। मित्र राष्ट्र में रूस, फ्रांस, ब्रिटेन, संयुक्त राष्ट्र अमेरिका और जापान था। संयुक्त राष्ट्र अमेरिका इस युद्ध में साल 1917- 18 के दौरान संलग्न रहा। धुरी राष्ट्र में केवल 3 देश मौजूद थे। ये तीन देश ऑस्ट्रो- हंगेरियन, जर्मनी और ओटोमन एम्पायर था। इस समय ऑस्ट्रो- हंगरी में हब्स्बर्ग नामक वंश का शासन था। ओटोमन आज के समय में ओटोमन तुर्की का इलाक़ा है।

प्रथम विश्वयुद्ध की शुरुआत कैसे हुई  – First World War Reason in Hindi

28 जून 1914 को, गव्रिलो प्रिंसिप एक बोस्नियाई सर्ब विद्यार्थी ने, अर्क्डुक फ्रैन्ज़ फ़र्डिनैँङ ऑस्ट्रिया-हंगरी सिंहासन के वारिस को बोस्निया की राजधानी साराजेवो में गोली मार कर हत्या कर दी थी। प्रिंसिप युवा बोस्निया (Young Bosnia) का एक सदस्य था (काला हाथ) जो की ऑस्ट्रिया-हंगरी से दक्षिण स्लैव्स की स्वतन्त्रता की मांग कर रहा था। बाद में ऑस्ट्रिया-हंगरी ने सर्बिया से दण्डित लोगो पर करवाई की मांग की, लेकिन जब ऑस्ट्रिया-हंगरी को पता चला की सर्बिया ने कोई करवाई नहीं किया, तो ऑस्ट्रिया-हंगरी ने युद्ध की घोषणा की।

इसका एक और कारण था की आस्ट्रिया और रूस दोनों ही बाल्कन प्रायद्वीप पर कब्जा करना चाहते थे लेकिन यहाँ के अधिकतर लोग आस्ट्रिया के थे किन्तु रूस ने सबसे पहले अपन सेना को युद्ध के लिए तैयार होने के निर्देश दिए थे। बताया जाता है रूस ने जैसे ही प्रायद्वीप पर कब्ज़ा करना चालू किया तभी यह युद्ध शुरू हुआ। प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान जर्मनी ने रूस पर 1 अगस्त 1914 ई को आक्रमण किया था।

प्रथम विश्व युद्ध के चार मुख्य कारण हैं. इन कारणों को MAIN के रूप में याद रखा जाता है। इस शब्द में M मिलिट्रीज्म, A अलायन्स सिस्टम, I इम्पेरिअलिस्म और N नेशनलिज्म के लिए आया है।

मिलिट्रीज्म : उस समय मिलिट्रीज्म में हर देश ने ख़ुद को हर तरह के आधुनिक हथियारों से लैस करने का प्रयास किया। इस प्रयास के अंतर्गत सभी देशों ने अपने अपने देश में इस समय आविष्कार होने वाले मशीन गन, टैंक, बन्दुक लगे 3 बड़े जहाज़, बड़ी आर्मी का कांसेप्ट आदि का आविर्भाव हुआ। कई देशों ने भविष्य के युद्धों की तैयारी में बड़े बड़े आर्मी तैयार कर दिए। इन सभी चीज़ों में ब्रिटेन और जर्मनी दोनों काफ़ी आगे थे। इन दोनों देशों ने अपने इंडस्ट्रियल कोम्प्लेक्सेस का इस्तेमाल अपनी सैन्य क्षमता को बढाने के लिए किया, जैसे बड़ी बड़ी विभिन्न कम्पनियों में मशीन गन का, टैंक आदि के निर्माण कार्य चलने लगे. इस समय विश्व के अन्य देश चाहते थे कि वे ब्रिटेन और जर्मनी की बराबरी कर लें किन्तु ऐसा होना बहुत मुश्किल था। मिलिट्रीज्म की वजह से कुछ देशों में ये अवधारणा बन गयी कि उनकी सैन्य क्षमता अति उत्कृष्ट है और उन्हें कोई किसी भी तरह से हरा नहीं सकता है. ये एक ग़लत अवधारणा थी और इसी अवधारणा के पीछे कई लोगों ने अपनी मिलिट्री का आकार बड़ा किया। अतः मॉडर्न आर्मी का कांसेप्ट यहीं से शुरू हुआ।

गठबंधन प्रणाली : यूरोप में 19वीं शताब्दी के दौरान शक्ति में संतुलन स्थापित करने के लिए विभिन्न देशों ने अलायन्स अथवा संधियाँ बनानी शुरू की। इस समय कई तरह की संधियाँ गुप्त रूप से हो रही थी। जैसे किसी तीसरे देश को ये पता नहीं चलता था कि उनके सामने के दो देशों के मध्य क्या संधि हुई है. इस समय में मुख्य तौर पर दो संधियाँ हुई, जिसके दूरगामी परिणाम हुए।

साम्राज्यवाद का विस्तार : उस समय जितने भी पश्चिमी यूरोप के देश हैं वो चाहते थे, कि उनके साम्राज्य का विस्तार अफ्रीका और एशिया में भी फैले। इस घटना को ‘स्क्रेम्बल ऑफ़ अफ्रीका’ यानि अफ्रीका की दौड़ भी कहा गया, इसका मतलब ये था कि अफ्रिका अपने जितने अधिक क्षेत्र बचा सकता है बचा ले, क्योंकि इस समय अफ्रीका का क्षेत्र बहुत बड़ा था। यह समय 1880 के बाद का था जब सभी बड़े देश अफ्रीका पर क़ब्ज़ा कर रहे थे। इन देशों में फ्रांस, जर्मनी, होलैंड बेल्जियम आदि थे। इन सभी देशों का नेतृत्व ब्रिटेन कर रहा था। इस नेतृत्व की वजह ये थी कि ब्रिटेन इस समय काफ़ी सफ़ल देश था और बाक़ी देश इसके विकास मॉडल को कॉपी करना चाहते थे। पूरी दुनिया के 25% हिस्से पर एक समय ब्रिटिश शासन का राजस्व था।

राष्ट्रवाद : उन्नसवीं शताब्दी मे देश भक्ति की भावना ने पूरे यूरोप को अपने कब्जे में कर लिया। जर्मनी, इटली, अन्य बोल्टिक देश आदि जगह पर राष्ट्रवाद पूरी तरह से फ़ैल चूका था। इस वजह से ये लड़ाई एक ग्लोरिअस लड़ाई के रूप मे भी सामने आई और ये लड़ाई ‘ग्लोरी ऑफ़ वार’ के नाम से जाना जाने लगा। इन देशों को लगने लगा कि कोई भी देश लड़ाई लड़ के और जीत के ही महान बन सकता है। इस तरह से देश की महानता को उसके क्षेत्रफल से जोड़ के देखा जाने लगा।

उनके अनुसार युद्ध किसी भी देश के निर्माण के लिए बहुत ज़रूरी है, बिना किसी युद्ध के न तो कोई देश बन सकता है और न ही किसी तरह से भी महान हो सकता है और न ही तरक्की कर सकता है. अतः युद्ध अनिवार्य है। और यही कारण बनी विश्वयुद्ध की।

प्रथम विश्व युद्ध का समय – First World War Time

प्रथम विश्व युद्ध अगस्त 1914 में युद्ध शुरू हो गया। इस समय जर्मनी ने एक योजना बनायी, जिसके तहत उसने पहले फ्रांस को हराने की सोची। इसके लिए उन्होंने बेल्जियम का रास्ता चुना। जैसे ही जर्मनी की मिलिट्री ने बेल्जियम में प्रवेश किया, उधर से ब्रिटेन ने जर्मनी पर हमला कर दिया। इसकी वजह ये थी कि बेल्जियम और ब्रिटेन के बीच सन 1839 में एक समझौता हुआ था। जर्मनी इस समय फ्रांस में घुसने में सफ़ल रहे हालाँकि पेरिस तक नहीं पहुँच पाए।

इसके बाद जर्मनी की सेनाओं ने ईस्ट फ्रंट पर रूस को हरा दिया। यहाँ पर लगभग 3 लाख रूसी सैनिक शहीद हुए। इस दौरान ओटोमन एम्पायर ने भी रूस पर हमला कर दिया। इसकी एक वजह ये भी थी कि ओटोमन और रूस दोनों लम्बे समय से एक दुसरे के दुश्मन रहे थे. इसी के साथ ओटोमन ने सुएज कैनाल पर भी हमला कर दिया. इसकी वजह ये थी कि ब्रिटेन आइलैंड को भारत से जोड़ने के लिए एक बहुत बड़ी कड़ी थी। यदि इस सुरंग पर ओटोमन का अधिपत्य हो जाता तो ब्रिटेन प्रथम विश्व युद्ध हार भी सकता था. हालाँकि सुएज कैनाल बचा लिया गया।

प्रथम विश्वयुद्ध से जुड़े रोचक तथ्य और जानकारी  – First World War Facts in Hindi 

  • प्रथम विश्वयुद्ध की शुरुआत 28 जुलाई 1914 ई. में हुई।
  • प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान दुनिया मित्र राष्ट्र और धुरी राष्ट्र दो खेमों में बंट गई।
  • धुरी राष्ट्रों का नेतृत्व जर्मनी के अलावे ऑस्ट्रिया, हंगरी और इटली जैसे देशों ने भी किया।
  • मित्र राष्ट्रों में इंगलैंड, जापान, संयुक्त राज्य अमेरिका, रूस तथा फ्रांस थे।
  • प्रथम विश्वयुद्ध 4 वर्ष तक चला था जिसमे 36 देशो के 6.5 करोड़ लोगो ने हिस्सा लिया था जिसमें से 1 करोड़ लोग मारे गये थे। इसमें से मित्र राष्ट्रों ने 60 लाख सैनिक और धुरी राष्ट्रों ने 40 लाख सैनिक खोये थे।
  • गुप्त संधियों की प्रणाली का जनक बिस्मार्क था।
  • ऑस्ट्रिया, जर्मनी और इटली के बीच त्रिगुट का निर्माण 1882 ई. में हुआ।
  • रूस-जापान युद्ध का अंत अमेरिकी राष्ट्रपति रूजवेल्टा से हुआ।
  • जर्मनी ने फ्रांस पर हमला 3 अगस्त 1914 ई. में किया।
  • इंग्‍लैंड प्रथम विश्व युद्ध में 8 अगस्त 1914 ई. को शामिल हुआ।
  • प्रथम विश्वथयुद्ध के समय अमेरिका के राष्ट्रपति वुडरो विल्सन थे।
  • जर्मनी के यू बोट द्वारा इंगलैंड लूसीतानिया नामक जहाज को डुबोने के बाद अमेरिका प्रथम विश्ववयुद्ध में शामिल हुआ।क्योंकि लूसीतानिया जहाज पर मरने वाले 1153 लोगों में 128 व्यक्ति अमेरिकी थे।
  • प्रथम विश्व युद्ध में जर्मन सेना ने सबसे पहले आग फेंकने की तोप का इस्तेमाल किया था। उनकी आग फेंकने की तोप 130 फीट की दूरी तक फायर कर सकती थी।
  • इटली मित्र राष्ट्र की तरफ से प्रथम विश्वयुद्ध में 26 अप्रैल 1915 ई. में शामिल हुआ।
  • प्रथम विश्व युद्ध के दौरान कुत्तो को दूत के रूप में प्रयोग किया जाता था जो उनके शरीर से जुड़े कैप्सूल के जरिये आदेशो को आदान प्रदान करते थे।
  • प्रथम विश्व युद्ध के दौरान रूस ने 12 मिलियन सेना जुटाई थी जो युद्ध में सबसे बड़ी सेना थी। उसकी सेना के तीन चौथाई सैनिक या तो मर गये या घायल हो गये या गुम हो गये थे।
  • प्रथम विश्व युद्ध (First World War) के बाद जर्मनी में पुरुषो की संख्या इतनी कम हो गयी थी कि हर तीन औरतो में से एक को ही पति मिल पाता था।
  • प्रथम विश्वयुद्ध 11 नवंबर 1918 ई. में खत्म हुआ।
  • पेरिस शांति सम्मेलन 18 जून 1919 ई. में हुआ। सम्मेलन में 27 देशों ने भाग लिया था।
  • युद्ध के हर्जाने के रूप में जर्मनी से 6 अरब 50 करोड़ की राशि की मांग की गई थी।
  • अंतर्राष्ट्रीय क्षेत्र में प्रथम विश्वयुद्ध का सबसे बड़ा योगदान राष्ट्रसंघ की स्थापना था।
  • प्रथम विश्व युद्ध में एक ब्रिटिश सैनिक ने एक एक घायल जर्मन सैनिक की जान बचाई थी उस घायल सैनिक का नाम अडोल्फ़ हिटलर था जो की बाद में जर्मनी का शासक बना और दूसरे विश्व युद्ध का जन्मदाता।
  • प्रथम विश्व युद्ध के बाद फिनलैंड, एस्टोनिया, लाटविया, लिथुनिया, और पोलैंड स्वंतंत्र राष्ट्र के रूप में उभरे।
  • प्रथम विश्व युद्ध के कारण संयुक्त राज्य अमेरिका विश्व का सबसे बड़ा मिलिट्री पॉवर बनकर उभरा।
  • प्रथम विश्व युद्ध में सबसे सफल विमान चालक Manfred Albrecht Freiherr था जिसने 80 विमानों को मार गिराया था जो प्रथम विश्व युद्ध में किसी भी विमान चालक में सबसे अधिक था।
  • प्रथम विश्व युद्ध खत्म होते-होते चार बड़े साम्राज्य रूस, जर्मनी, ऑस्ट्रिया-हंगरी और उस्मानिया बिखर गए।

* प्रथम विश्वयुद्ध के पहले एक पोस्टर बना था, जिसमे कई देश एक दुसरे के पीछे से प्रहार करते हुए नज़र आये। इसमें साइबेरिया को सबसे छोते बच्चे के रूप में दिखाया गया। इस पोस्टर में साइबेरिया अपने पीछे खड़े ऑस्ट्रिया को कह रहा था यदि तुम मुझे मारोगे तो रूस तुम्हे मारेगा। इसी तरह यदि रूस ऑस्ट्रिया को मरता है तो जर्मनी रूस को मारेगा। इस तरह सभी एक दुसरे के दुश्मन हो गये, जबकि झगड़ा सिर्फ साइबेरिया और ऑस्ट्रिया के बीच में था।


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