सुखना झील चंडीगड़ की जानकारी व इतिहास | Sukhna Lake in Hindi

Sukhna Lake / सुखना झील भारत के चंडीगड़ में स्थित एक मानव निर्मित झील है जो 3 वर्ग किमी. के क्षेत्र में फैली हुई है। चंडीगढ़ का यह झील एक ऐसी जगह है जहाँ आधुनिक संरचनाओं के साथ अधिक हरियाली भी हैं। इस झील का प्राकृतिक सौंदर्य बड़ी संख्या में पैदल चलने वालों, फोटोग्राफरों और पेंटरों को अपनी ओर आकर्षित करता है। प्रचुर हरियाली से घिरी हुई शिवालिक रेंज की तलहटी में एक शांत जलाशय – सुखना झील का दिव्य परिदृश्य चंडीगढ़ का सबसे लोकप्रिय पर्यटक आकर्षण है।

सुखना झील का इतिहास - Sukhna Lake History in Hindi

सुखना झील का इतिहास – Sukhna Lake History in Hindi

इस झील का निर्माण 1958 में शिवलिक पहाड़ी से नीचे आने वाले पानी पर बांध बनाकर किया गया था। पहले इसमें सीधा बरसाती पानी गिरता था और इस कारण बहुत सी गार इसमें जमा हो जाती थी। इसको रोकने के लिए 25.42 किमी² ज़मीन ग्रहण करके उसमे जंगल लगाया गया। 1974 में इसमें चोअ के पानी को दूसरी तरफ मोड़ दिया गया और झील में साफ़ पानी भरने का प्रभंध कर लिया गया।

सुखना झील (Sukhna Jheel) का निर्माण चण्डीगढ़ की योजना बनाने वाले वास्तुकार ली कॉबूजीयर और उनके दल ने नियोजित किया था। अनेक प्रवासी पक्षियों को यहाँ देखा जा सकता है। झील में बोटिंग का आनंद लेते समय दूर-दूर फैले पहाड़ियों के सुंदर नजारों के साथ-साथ सूर्यास्त के नज़ारे भी यहां से बड़े मनमोहक दिखाई देते हैं।

यहां विभिन्न सुंदर पक्षियों को किल्लोल करते देख स्वर्ग के आनंद की अनुभूति होती है। झील सैक्टर के निकट ही सचिवालय, उच्च न्यायालय, विश्वविद्यालय परिक्षेत्र दर्शनीय स्थल हैं।

सुखना झील पर्यटन स्थल – Sukhna Lake Information in Hindi

Sukhna Jheel – सुखना झील में एशियन रोइंग चैंपियनशिप का भी आयोजन किया जाता था। एशिया के सबसे लंबे रोइंग और याटिंग चैनल के रूप में भी इस झील की प्रसिद्धि है। यह झील स्कीइंग, सर्फिंग और स्कलिंग जैसे अन्य वाटर स्पोर्ट्स गतिविधियों के लिए भी काफी लोकप्रिय है।

झील दक्षिण में एक गोल्फ जलमार्ग और पश्चिमी तट के किनारे पर प्रसिद्ध रोज गार्डन द्वारा संलग्न है। सुखना झील कई मछलियों और सारसों एवं साइबेरियाई बतख जैसे प्रवासी पक्षियों का निवास स्थान है। इसे भारत सरकार द्वारा आरक्षित राष्ट्रीय आर्द्रभूमि घोषित किया गया है। झील के किनारे एक धारा के कारण ताजी हवा का आनंद लेने वालो की अक्सर भीड़ रहती है। चंडीगढ़ में सुंदर सुखना झील फोटोग्राफरों और कलाकारों को प्राकृतिक सुंदरता के साथ सच्ची अनुभूति देती है, जो कि अपनी पसंद के लिए फोटो खींच सकते हैं।

जल-क्रीड़ा गतिविधियाँ जैसे नौकायन, वॉटर स्कीइंग यहाँ पूर्ण उत्साह एवं उमंग के साथ की जाती हैं। सुखना झील एशिया में नौकायन के लिए सबसे लंबा प्रवाह है। झील कई त्योहारों की भी गवाही देती है जो पर्यटकों और नागरिकों द्वारा आनन्दपूर्वक मनाए जाते हैं। सुखना नदी के पास एक सदस्यता आधारित संघ भी है जो अपने सदस्यों को असंख्य सुविधाएं प्रदान करता है। यह जगह चंडीगढ़ में पिकनिक मनाने के लिए सबसे ज्यादा मांग वाला स्थल है। झील के किनारे पर बस एक छोटी सी सैर मन को आराम देती है और विशाल शांति प्रदान करती है। सुरम्य तट पक्षियों की मधुर आवाज से सुशोभित है और एक शांत वातावरण आपको इतना मंत्रमुग्ध कर देता है कि आप दुनिया को भूलकर झील के किनारे हर पल का आनंद लेते हैं।

आधुनिक भवन निर्माण कला के उदाहरण-टैगोर थियेटर, गांधी भवन संग्रहालय तथा कलादीर्घा अपने में अद्भुत स्थल हैं। लेकिन झील क्षेत्र में ही स्थित रॉक गार्डन कभी नहीं भुलाया जा सकता। यदि आपको कभी रॉक गार्डन या चंडीगढ़ जाना हो तो सुखना झील में नौका विहार करना न भूलें। यहां शक्ति चलित तथा चप्पू वाली नौका दोनों में विहार करने का अपना-अपना आनंद है। झील के किनारे-किनारे अर्द्ध गोलाकार सड़क पर चहलकदमी करके आप इस झील के सच्चे सौंदर्य का अनुभव प्राप्त करेंगे।

ठंड के दौरान यहां विदेशी प्रवासी पक्षियां भी बड़ी संख्या में आते हैं, जिससे यह बर्डवाचिंग के लिए भी एक आदर्श स्थान बन जाता है। झील के निर्मल वातावरण में आप पिकनिक, बोटिंग और मेडिटेशन के लिए जा सकते हैं।


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